शारदीय नवरात्रि अक्टूबर 2023 : शारदीय नवरात्रि 15 अक्टूबर 2023 से शुरू हो रही है। इस बार मां दुर्गा हाथी पर सवार होकर धरती पर आएंगी. यह सुख, समृद्धि और खुशहाली का प्रतीक है। नवरात्रि के 09 दिनों में मां दुर्गा के 09 रूपों की पूजा की जाती है।
![माँ दुर्गा के 9 अवतारजानिए उनके नाम और महत्व](https://shonali18.com/wp-content/uploads/2023/10/माँ-दुर्गा-के-9-अवतारजानिए-उनके-नाम-और-महत्व-1024x576.webp)
मां दुर्गा ने समय-समय पर नौ अवतार लिये हैं। हर अवतार का अपना-अपना महत्व होता है। मां दुर्गा के नौ अवतारों के बारे में।
1- मां शैलपुत्री:
![मां शैलपुत्री](https://shonali18.com/wp-content/uploads/2023/10/मां-शैलपुत्री-1024x576.webp)
1- मां शैलपुत्री: मां दुर्गा का पहला अवतार मां शैलपुत्री हैं. नवरात्रि के पहले दिन घटस्थापना के साथ इनकी पूजा की जाती है। उनका जन्म हिमालय पर्वत के राजा की पुत्री के रूप में हुआ था, इसलिए उन्हें शैलपुत्री कहा गया।
2- मां ब्रह्मचारिणी
![2- मां ब्रह्मचारिणी](https://shonali18.com/wp-content/uploads/2023/10/2-मां-ब्रह्मचारिणी-1024x576.webp)
2- मां ब्रह्मचारिणी: मां दुर्गा का दूसरा रूप मां ब्रह्मचारिणी है। नवरात्रि के दूसरे दिन इनकी पूजा की जाती है। उन्होंने भगवान शिव को पति के रूप में पाने के लिए कठोर तपस्या और ध्यान किया था, इसलिए उन्हें ब्रह्मचारिणी कहा गया।
3- मां चंद्रघंटा
![3- मां चंद्रघंटा](https://shonali18.com/wp-content/uploads/2023/10/3-मां-चंद्रघंटा-1024x576.webp)
3- मां चंद्रघंटा: मां चंद्रघंटा मां दुर्गा का तीसरा स्वरूप हैं। नवरात्रि के तीसरे दिन इनकी पूजा की जाती है। ये मां घंटे के आकार का चंद्रमा धारण करती हैं, इसलिए इन्हें चंद्रघंटा कहा जाता है।
4-मां कुष्मांडा
![मां कुष्मांडा](https://shonali18.com/wp-content/uploads/2023/10/मां-कुष्मांडा-1024x576.webp)
4-मां कुष्मांडा: मां कुष्मांडा मां दुर्गा का चौथा स्वरूप हैं। कूष्माण्डा का अर्थ है कद्दू। इसमें बड़ी संख्या में बीज होते हैं, जो कई कद्दूओं को जन्म देने की क्षमता रखते हैं। इस देवी में संपूर्ण ब्रह्मांड को उत्पन्न करने की क्षमता है, इसलिए इनका नाम कुष्मांडा पड़ा। नवरात्रि के चौथे दिन इनकी पूजा की जाती है।
5 . मां स्कंदमाता
![मां स्कंदमाता](https://shonali18.com/wp-content/uploads/2023/10/मां-स्कंदमाता-2-1024x576.jpg)
5-मां स्कंदमाता: मां स्कंदमाता मां दुर्गा का पांचवां स्वरूप हैं। स्कंदमाता का अर्थ है स्कंद कुमार की माता। स्कंद कुमार भगवान कार्तिकेय का दूसरा नाम है। इस मां की गोद में छह मुख वाले स्कंद कुमार बैठे नजर आते हैं। यह देवी सुख देने वाली हैं। नवरात्रि के पांचवें दिन इनकी पूजा की जाती है।
6 . मां कात्यायनी
![मां कात्यायनी](https://shonali18.com/wp-content/uploads/2023/10/Copy-of-lyrics-20-1024x576.jpg)
6- मां कात्यायनी: मां कात्यायनी मां दुर्गा का छठा स्वरूप हैं। यह देवी ऋषि कात्यायन की पुत्री के रूप में जानी जाती हैं, इसलिए इन्हें कात्यायनी कहा जाता है। यह देवी सभी प्रकार की नकारात्मकता को समाप्त कर देती है। नवरात्रि के छठे दिन इसी देवी की पूजा की जाती है।
7 .मां कालरात्रि
![मां कालरात्रि](https://shonali18.com/wp-content/uploads/2023/10/मां-कालरात्रि-2-1024x576.jpg)
7-मां कालरात्रि: मां कालरात्रि मां दुर्गा का सातवां स्वरूप हैं। नवरात्रि के सातवें दिन इनकी पूजा की जाती है। मां कालरात्रि अपने भक्तों को सभी प्रकार की बुराइयों के खिलाफ साहस प्रदान करती हैं।
8 . मां महागौरी
![मां महागौरी](https://shonali18.com/wp-content/uploads/2023/10/मां-महागौरी-2-1024x576.jpg)
8- मां महागौरी: मां महागौरी मां दुर्गा का आठवां अवतार हैं। दुर्गाष्टमी के दिन मां महागौरी की पूजा की जाती है। जब माता पार्वती ने भगवान शिव को पति के रूप में पाने के लिए कठोर तपस्या की तो उनका शरीर काला पड़ गया। तब भगवान शिव के आशीर्वाद से उन्हें गौर वर्ण प्राप्त हुआ और बाद में वे माता महागौरी कहलाईं। वे मोक्ष और सर्वोच्च सुख लाने के लिए भी जाने जाते हैं।
9 . मां सिद्धिदात्री
![मां सिद्धिदात्री](https://shonali18.com/wp-content/uploads/2023/10/मां-सिद्धिदात्री-2-1024x576.jpg)
9- मां सिद्धिदात्री: मां सिद्धिदात्री मां दुर्गा का नौवां स्वरूप हैं। इस मां की पूजा करने से व्यक्ति को सभी प्रकार की सिद्धियां प्राप्त होती हैं। महानवमी के दिन मां सिद्धिदात्री की पूजा की जाती है।